(सन् 2019 में सत्रहवीं लोकसभा चुनाव के लिए) 1. संघ की राजभाषा को संघ की राष्ट्रभाषा बनाया जाए अर्थात् अधिकृत राष्ट्रीय संपर्क र्क भाषा तथा राज्यों की राजभाषाओं को राज्यों की राज्यभाषा अर्थात राज्यों की अधिकृत संपर्क भाषा बनाया जाए। 2. सभी निर्वाचित लोकसभा सदस्य सदन में अपनी अभिव्यक्ति भारतीय […]

 भारतीय रिजर्व बैंक यानी आरबीआई के पूर्व गवर्नर और अर्थशास्त्री रघुराम राजन ने भी बार बार कहा है कि कहा कि देश में नौकरियों की भारी किल्लत है और सरकार इस पर सही से ध्यान नहीं दे रही है। रघुराम राजन ने यह भी स्पष्ट किया है कि  जीएसटी और […]

7 अप्रैल( जन्म दिवस)   देश के प्रसिद्ध सितारवादक एवम संगीतज्ञ पण्डित रविशंकर चौधरी का जन्म 7 अप्रैल 1920  को बनारस,ब्रिटिश भारत मे हुआ था।  पश्चिमी बंगाल के एक बंगाली ब्राह्मण परिवार में इनका जन्म हुआ था। ये एक प्रख्यात वकील के बेटे थे।  ये दस साल की उम्र में […]

  दुनिया भर में काल गणना के अनेक प्रकार प्रचलित हैं। यूं तो काल गणना का प्रत्येक पल कोई न कोई महत्व रखता है किन्तु कुछ तिथियों का भारतीय काल गणना (कलैंडर) में विशेष महत्व है। भारतीय नव वर्ष (विक्रमी संवत्) का पहला दिन (यानि वर्ष-प्रतिपदा) अपने आप में अनूठा […]

जी हाँ भारत की राजनीति में चुनावी पिटारा खुलना कोई नई बात नहीं है। इस प्रकार का पिटारा लगभग सभी राजनीतिक पार्टियां चुनावी मौसम में खोलती रही हैं, जिसके माध्यम से देश की जनता को मुँगेरी लाल के हसीन सपने दिखाकर सियासी पार्टियां फिर चली जाती हैँ। यदि शब्दों को […]

अटूट वादे व अटल इरादे से किसी भी समस्या का हल और मनवांछित फल को हासिल किया जा सकता है। जिसके परिणाम कमशकम सैन्य, शोध व सामरिक क्षेत्रों में तो परिलच्छित होने लगे है। पादुर्भाव पहले सर्जिकल स्ट्राइक बाद एयर सर्जिकल स्ट्राइक और अब अंतरिक्ष में सैटेलाइट सर्जिकल स्ट्राइक ने […]

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए। आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं। कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।