इंदौर । हिन्दी को राष्ट्रभाषा बनाने के उद्देश्य से कार्यरत मातृभाषा उन्नयन संस्थान व हिन्दी ग्राम को वाचिक परंपरा के दिग्गज डॉ. कुँवर बैचैन, डॉ. विष्णु सक्सेना, शबीना अदीब,डॉ पॉपुलर मेरठी, डॉ. शारिक कैफ़ी का साथ व स्नेह मिला। स्टेट प्रेस क्लब द्वारा आयोजित भारतीय पत्रकारिता महोत्सव में भाग लेने […]

कभी हँसाती कभी रूलाती यादें! कभी सताती खट्टे-मीठे दिन याद दिलाती यादें! गुजरे दिन दु:ख या मौज में पल-पल की फिल्म दिखाती यादें! खुशी हो या हो गम आँसू बनकर छलक जाती यादें! ये नटखट बड़ी सताती तरह-तरह के रूप दिखाती यादें! कभी बचपन तो कभी पचपन की सैर कराती […]

अठ्ठारह नवंबर से तीन दिन के लिए मेरठ के एक निजी विश्वविद्यालय में आयोजित क्रांतिधरा मेरठ साहित्यिक महाकुंभ में यूं तो देश विदेश के हिंदी एवं विभिन्न भाषाओं के साहित्यकारों ने भाग लिया।लेकिन चाहे पुस्तक प्रदर्शनी का उदघाटन हो या फिर साहित्यिक महाकुंभ का उदघाटन सरस्वती पुत्रो को पीछे धकेलकर […]

चलते चले जा रहे, कुछ करने के लिए। मंजील का पता नही, फिर भी चले जा रहे है। सोचकर कुछ ऐसा की, कभी तो मंजील मिलेगी। और इसी आशा में, जीवन जिये जा रहे है।। जीवन का लक्ष्य हम, एक दिन जरूर पाएंगे। कहने से पहले, करके हम दिखाएंगे। और […]

जब हम बिल्कुल छोटे थे नहीं ज़रा भी मोटे थे करते थे सब प्यार मुझे देखते सौ -सौ बार मुझे मम्मी दूध पिलाती थीं नानी कपड़े लाती थीं पापा सब कुछ लाते थे झूले हमें झुलाते थे फिर जब कुछ हम बड़े हुए धीरे -धीरे खड़े हुए लगे बोलने बातें […]

हे प्रभु ज्ञान दाता,ज्ञान हमको दीजिये | शीघ्र हमारे दुर्गणों,को दूर हमसे कीजये || लीजिये हमको शरण में,हम सदाचारी बने | ब्रह्मचारी धर्म रक्षक और वीर व्रतधारी बने || रोम रोम में ओम भर जाये हमारे | प्रभु, ऐसी शक्ति हमको दीजिये || छल कपट से कोसो दूर रहे हम […]

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए। आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं। कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।