रुड़की | ख्यातिलब्ध शिक्षाविद डॉ योगेंद्र नाथ शर्मा ‘अरुण’ को भारत सरकार के मानव संसाधन मंत्रालय से सम्बद्ध नेशनल बुक ट्रस्ट के ट्रस्टी व एक्जीक्यूटिव मेम्बर के रूप में तीन वर्ष के लिए नियुक्त किया गया है।साहित्यकार श्रीगोपाल नारसन ने बताया कि नेशनल बुक ट्रस्ट ने देशभर के शिक्षाविदों,साहित्यकारों ,लेखको […]

आधा बीता, आधा बाकी,यह साल रहा जीवन की झांकी… एक बात “राणा” समझाए, दिन निकले जब बीते राती.. भूकंप कभी आ जाए , तो कभी तूफान डराए… कभी बारिश बनी आफत, बिजली कभी गिर गिर जाए.. विश्वास ना तोड़ो लेकिन ईश्वर पर भरोसा राखी आधा बीता आधा बाकी, यह साल […]

तेजी से बदलती दुनिया में जहां हर कुछ इतनी तेजी से बदल रहा है कि आम आदमी कल्पना भी नहीं कर सकता है । आज हम हर और बदलाव ही बदलाव बदलाव ही बदलाव बदलाव देख रहे हैं। चाहे पहनावा हो, रहन-सहन व खानपान,आचार -व्यवहार, संस्कृति ,तकनीक ,समाज, रिश्ते- नाते, […]

दिल के झरोको से, प्यार झलकता है। आपकी वाणी में, अपनापन दिखता है। तभी तो आपसे निगाहें, मिलाने को मन करता है। और तुम्हें दिल से, अपनाने का मन करता है।। कौन कहता है कि तुम, दिल नहीं लगा सकते। और किसी को अपना, बन नही सकते। क्योंकि दोस्तो ये, […]

परमात्म याद में खोये रहो शान शौक़त से दूर ही रहो मन के आवेग से उड़ान भरो परमधाम की जा सैर करो ईश्वरीय बोध हो जाएगा ईश्वर से संवाद जुड़ जाएगा स्वेत वस्त्रो में स्वेत मन होगा पवित्रता का प्रतिबिंब होगा मोह माया पास न आएगी संसारिक विरक्ति हो जाएगी […]

अपना देश अपना वेश फिर क्यूं अपनाएं हम विदेशी, अपना वतन,अपना स्वदेशी। विदेशी वस्तुओं का करे बहिष्कार, मिलकर स्वदेशी सामान करें स्वीकार। चीन को उसकी औकात बताए, स्वदेशी अपनाकर शान दिखाएं। चीनी बाजारों को भंग करे, अपना वतन आबाद करें। नहीं चाहिए गुड्डे गुड़ियों का साया, बनता जो विदेशी सामान […]

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए। आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं। कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।