चिडिया चूँ – चूँ करती आई कोयल गाना गाती आई । परिंदों का स्वर नभ में गूँजा रश्मि प्रभा भी मुस्काती आई ।। मम्मी-पापा सबका यह कहना घर में रहना , घर पर ही पढ़ना । दादी हमें अच्छी बात समझाती फिर खुलेंगे स्कूल धैर्य रखना ।। घर – घर […]
चलो आजादी का पर्व मनाते हैं झूठा ही सही स्वतंत्रता दिवस मनाते हैं तिरंगे को जो भुनाते हैं झूठें देशभक्तों को हम सलाम करते हैं स्वतंत्रता दिवस मनाते हैं | संसद में बैठे भेड़ियों को वोट का दान करते हैं अंग्रेजी मानसिकता से ग्रसित लालफीताशाही का गुणगान करते हैं स्वतंत्रता […]
मुफ़लिसों को दुनिया में क्या कोई अधिकार नही पास है हिम्मत की ताकत समझो तुम लाचार नही।। लोग गरीबी की अक्सर खूब उड़ाते हैं खिल्ली इंसान नही हैं ऐसों पर बोलो क्यों धिक्कार नहीं ।। चारो तरफ घना अँधेरा, नही रोशनी की गुंजाइश हर हाथों में नफ़रत है प्यार कहीं […]
यूँ तो हर कहीं से मिल जाती है प्रेरणा पुष्पों से बगिया को महका जाने की प्रेरणा सूरज से बिना शिकायत जलते रहने की प्रेरणा आसमां से सदा ऊँचे उठने की प्रेरणा वसुधा से हँसते हुए बोझ उठाने की प्रेरणा यूँ तो हर कहीं से मिल जाती है प्रेरणा शिशुओं […]
फूलों की सुगंध से, सुगन्धित हो जीवन तुम्हारा। तारों की तरह चमके, जीवन तुम्हारा। उम्र हो सूरज जैसी, जिसे याद रखे दुनियाँ सारा। आप महफ़िल सजाएं ऐसी, की हम सब आये दुवारा।। आपके जीवन में हजारो बार, मौके आये इस तरह के। की लोग कहते कहते न थके, की मुबारक […]
गुलामी के अवसान को आवाज़ उठी थी भारत मे अब अंग्रेजों भारत छोड़ो मुहिम चली थी भारत मे करो या मरो का नारा दिया अपने अहिंसक बापू ने जैसे भी हो मिले आज़ादी यह प्रण किया था बापू ने सन 42 की 9 अगस्त को इतिहास रचा था बापू ने […]
मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए।
आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं।
कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।