जो मार्ग बनाते स्वयं का सफलता उन्हें ही मिलती है जो चलते है बैशाखियों से उन्हें निराशा हाथ लगती है स्वमान में रहकर अपने अपनी राह बनाते जाइए जो अवरोधक हो राह में होंसलों से हटाते जाइए नेक नियत रखकर जो मंजिल पर कदम बढ़ाते है ईश्वर भी साथ देने […]

भादो में सावन झूम रहा रह रहकर मेघ बरस रहा कही बाढ़ कहर ढाह रही गरीबो के घर उजाड़ रही कही अभी भी सूखा है जल का स्तर नीचा है यही समय है पेड़ लगा लो आस पास हरियाली बसा लो वातावरण अच्छा बन जायेगा पर्यावरण भी सुधर जाएगा सेहत […]

किससे छिपाना, क्या छिपाना क्यों छिपाना,कैसे छिपाना इसी उलझन में उलझे है लोग कोई देख तो नही रहा किसी ने कुछ देखा तो नही इसी भय में जी रहे है लोग क्या सच, छिपा सकते हो क्या झूठ पचा सकते हो यह सच से आंख मुंदने जैसा है स्वयं को […]

कटुवचन काम बिगाड़े अपनो को कर दे न्यारे गहरे जख्म कर देते है नफरत पैदा कर देते है सम्बन्धो में दरार आ जाती प्यार की बुझ जाती बाती ईर्ष्या द्वेष भी जन्म ले लेते दुश्मन घर मे पैदा कर देते रामायण की यही कहानी महाभारत इसकी जुबानी कटुवचन से कर […]

देशभर में जम्मू-कश्मीर मामले पर जो कयास लगाये जा रहे थे, सरकार ने उन कयासों पर मुहर लगा दी है। 5 अगस्त को बुलायी गयी कैबिनेट बैठक में मोदी सरकार ने कई बड़े फैसले लिये है। उन फैसलों को राज्यसभा में सुनाते हुए गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि […]

देश का नक्शा बदल गया बदल गया स्वर्ग धरा का महामहिम के  एक आदेश से  दम निकल गया 370 का एक राज्य से अब दो हो गए केंद्र सरकार के अधीन हो गए लद्दाख को अपनी पहचान मिली जम्मू कश्मीर  सरकार गिरी भारतीय संसद में गर्जन है पाकिस्तान में भी […]

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए। आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं। कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।