ज़िन्दगी में बहार कर दूँगा, दिल की कश्ती को पार कर दूँगा। देख आकर तो आज महफ़िल में, तुझको भी बेकरार कर दूँगा। तेरे होंठो की इक हँसी के लिए, आज सब कुछ निसार कर दूँगा। तुम भी उड़ने लगोगे कुछ पल में, दिल पे तुमको सवार कर दूँगा। गीत […]

बिखर रहे क्यों देह धर्म से, आत्म धर्म से एक बनो तुम.. परिजन तेरे प्रभु सेवा को, सेवामय सब कार्य करो तुम.. नहीं देह का नाता जग से, श्री हरि से ही सब नाते हैं॥ सभी चराचर प्रभु शरीर हैं, उसके हेतु कार्य करो तुम.. विषम दृष्टि से मत देखो […]

मिल गए नैन से नैन, भरमा गए, जग हमारे दिलों बीच अरमा गए। मैं उन्हें देखकर क्या करूँ,क्या कहूँ, देखकर वे मुझे,आज शरमा गए॥ फलक से पूर्णिमा का चाँद धरती पर उतारा है, बहुत मासूम सुन्दर शुभ्र कोमल और प्यारा है। भला कैसे बना दूँ मैं उसे गुलजार-ए-महफ़िल, कई रातों […]

हमें न ज़ोर हवाओं से आज़माना था, वो कच्चा धागा था उसको तो टूट जाना था। वो मेरे ज़हन में ढलता गया ग़ज़ल की तरह, मिरा मिज़ाज ही कुछ ऐसा शायराना था। हरेक शख़्स की आँखों में हम ही रहते थे, हमारे पास जो उनका भी आना-जाना था। ये और […]

विनय शुक्ला आजकल में, किसी पल में वक्त के तुम, क्रूर छल  में निपट जाओगे, निपट जाओगेl बस दो गज जमीं, के जमींदार बनकर सिमट जाओगे, सिमट जाओगे।   #विनय शुक्ला  Post Views: 837

एक माता-पिता उसे कहते हैं, जो झूठ बोलकर नादानी में गलत फैसले ले चुकी है उसे माँ-बाप कुछ कह तो नहीं सकते, लेकिन उनकी नज़रें यही कहती हुई-सी प्रतीत होती हैं- तुझे जन्म दिया तुझको पाला, तुझको सब अपना दे डाला आखिर ऐसा क्यूँ काम किया तूने हमको बदनाम किया […]

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संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष, ख़बर हलचल न्यूज़, मातृभाषा डॉट कॉम व साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। साथ ही लगभग दो दशकों से हिन्दी पत्रकारिता में सक्रिय डॉ. जैन के नेतृत्व में पत्रकारिता के उन्नयन के लिए भी कई अभियान चलाए गए। आप 29 अप्रैल को जन्में तथा कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएच.डी की उपाधि प्राप्त की। डॉ. अर्पण जैन ने 30 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण आपको विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन द्वारा वर्ष 2020 के अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से डॉ. अर्पण जैन पुरस्कृत हुए हैं। साथ ही, आपको वर्ष 2023 में जम्मू कश्मीर साहित्य एवं कला अकादमी व वादीज़ हिन्दी शिक्षा समिति ने अक्षर सम्मान व वर्ष 2024 में प्रभासाक्षी द्वारा हिन्दी सेवा सम्मान से सम्मानित किया गया है। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं, साथ ही लगातार समाज सेवा कार्यों में भी सक्रिय सहभागिता रखते हैं। कई दैनिक, साप्ताहिक समाचार पत्रों व न्यूज़ चैनल में आपने सेवाएँ दी है। साथ ही, भारतभर में आपने हज़ारों पत्रकारों को संगठित कर पत्रकार सुरक्षा कानून की मांग को लेकर आंदोलन भी चलाया है।