माँ ही मेरी दुनिया,माँ ही जहान है, दुनिया के सभी रिश्तों में माँ ही महान हैl माँ मेरी लक्ष्मी,माँ ही सब भगवान है, माँ तेरा बेटा अभी भी नादान हैl जब कोई संकट में रहता है, तो माँ का आँचल ही सिर पर पाता हैl इसलिए दौड़कर माँ के […]
न चाहते हुए भी क्यूँ वो मुझपे चिल्लाता है, पता नहीं,अब बात करने से भी क्यूँ कतराता है ? मैं जाती हूँ पास उसके,पर वह बहुत दूर चला जाता है, अब प्यार से भी नहीं कभी `अम्मा` कहकर बुलाता हैl पता है! मेरा बेटा भी अब मुझे `बुढ़िया` कहकर बुलाता […]
तेरे संग में जुड़ा है मेरा नाम, न करना कभी ऐसा कोई काम… हो जाऊं मैं सारे जग में बदनाम, मेरे नाम से ही है मेरी पहचान। तेरे संग में जुड़ा है…॥ बस रखना इतना तू ध्यान, टूट न जाएं मेरे अरमान… न करना अपने पर अभिमान। तेरे संग में […]
चलो चलें देखने आस्था की भीड़, नदी-तलाबों,जलाशय पे उमड़ रही है… दुल्हन बनी है आज प्रकृति,फिजाएं, मन को लुभा रहा है मनभावन दृश्यl चलो चलें देखने….ll सजे हैं घाट कितने मनोहर, मीठे-मीठे फल-पकवानों से… कर रहे नमन सभी जन मिलकर, हो रहे अस्तगांचल रवि कोl चलो चलें देखने….ll उपवास किए […]
आओ हम सब मिलकर दीप जलाएं, चकमक-जगमग करके दशों दिशाएंl नाच-नाच गा-गाकर खुशी मनाएं, आओ हमसब मिलकर दीप जलाएंl घर-घर,गली-गली में हर्षोल्लास है भाई, सज रही दुकानों में रंग-बिरंगी मिठाईl हो रही है अतिशबाजी ऐसे, जैसे बजती हैं ब्याह में शहनाईl आओ हम सब मिलकर दीप जलाएं, वर्षभर बाद है […]
कर पूजा मेरी स्वीकार,हे माता शेरोवाली बड़ी दूर से आया हूँ,सँग लाल चुनरिया लाया हूँ, करने तेरा श्रृंगार लेकर फूलों का गलहार, तेरे द्वार पे आया हूँ, हे माता शेरोवाली कर पूजा मेरी स्वीकार,हे….l सर्वमंगला शक्ति भंडार तुम हो, सकल सृष्टि आधार तुम हो सदा दुष्टों का करती संहार, कर […]
आपका जन्म 29 अप्रैल 1989 को सेंधवा, मध्यप्रदेश में पिता श्री सुरेश जैन व माता श्रीमती शोभा जैन के घर हुआ। आपका पैतृक घर धार जिले की कुक्षी तहसील में है।
आप कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएचडी की उपाधि प्राप्त की। आपने अब तक 8 से अधिक पुस्तकों का लेखन किया है, जिसमें से 2 पुस्तकें पत्रकारिता के विद्यार्थियों के लिए उपलब्ध हैं।
मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष व मातृभाषा डॉट कॉम, साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। डॉ. अर्पण जैन ने 21 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण उन्हें वर्ल्ड बुक ऑफ़ रिकॉर्डस, लन्दन द्वारा विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया।
इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं और ख़बर हलचल न्यूज़ के संस्थापक व प्रधान संपादक हैं।
हॉल ही में साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन संस्कृति परिषद्, संस्कृति विभाग द्वारा डॉ. अर्पण जैन 'अविचल' को वर्ष 2020 के लिए फ़ेसबुक/ब्लॉग/नेट (पेज) हेतु अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से अलंकृत किया गया है।