दिल्ली सरकार के एक लोक-कल्याणकारी काम पर उप-राज्यपाल ने मोहर लगा दी,यह अच्छा किया। वे यदि इसमें अड़ंगा लगाए रखते तो उनकी बदनामी तो होती ही,केन्द्र की भाजपा सरकार भी बुरी बनती। मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और उप-मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने यह इतनी अच्छी योजना शुरु की है कि वे अन्य […]

पिछले दिनों देश के एक प्रमुख समाचार चेनल पर एक कार्यक्रम में सेना के एक प्रमुख रेजीमेंटल ट्रेनिंग सेन्टर के प्रशिक्षु सैनिकों के मोबाइल्स को उन्हीं जवानों की आँखों के सामने पत्थरों से तोड़ते हुए दिखाया गया है। एक लोकतांत्रिक देश में और संचार क्रांति के युग में प्रशिक्षणरत रिक्रूटों […]

(स्वामी विवेकानंद जयंती विशेष) युगपुरुष,वेदांत दर्शन के पुरोधा, मातृभूमि के उपासक,विरले कर्मयोगी, दरिद्र नारायण मानव सेवक,तूफानी हिन्दू साधु,करोड़ों युवाओं के प्रेरणास्त्रोत व प्रेरणापुंज स्वामी विवेकानंद का जन्म १२ जनवरी १८६३ को कलकत्ता आधुनिक नाम कोलकता में पिता विश्वनाथ दत्त और माता भुवनेश्वरी देवी के घर हुआ था। दरअसल यह वो […]

भारतीय युवाओं का इतिहास यह दर्शाता है कि मानव संसाधन का बहुत ही महत्वपूर्ण और सक्रिय अंग होने के नाते युवा वर्ग ने हमेशा ही समाज की प्रगति में अग्रणी भूमिका निभाई। स्वतंत्रता संग्राम के दौरान महान बलिदानी बनकर,कुरूतियों,रूढ़ियों तथा मौजूद विपदाओं को नेस्तनाबूत किया। आगे,देश के विकास, औद्योगिक क्रांति,नवीनतम […]

  (विश्व हिंदी दिवस विशेष)  शायद कुछ लोग मेरे विचारों से सहमत न हों,मुझसे रुष्ट हो जाएं,भला-बुरा कहें। हो सकता है कि वे ही सही हों,पर मैं तो अपने मन की ही कह सकता हूँ। जो देखता आया हूँ,जो देख रहा हूँ,वही कह सकता हूँ। जैसे-जैसे देश में हिंदी के […]

इस मंच के माध्यम से मैं हिन्दी संबंधी अपनी चिन्ताओं से सभी को अवगत कराना चाहता हूँ। हिन्दी की सबसे बड़ी समस्या उसके प्रति ममत्व अथवा अपनत्व की है।लखनऊ के अखबार में एक ९२ वर्षीया वृद्धा की खबर थी, जो जानकीपुरम(लखनऊ) के वृद्धाश्रम में मरणासन्न अवस्था में पड़ी हैं। उनके […]

संस्थापक एवं सम्पादक

डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’

आपका जन्म 29 अप्रैल 1989 को सेंधवा, मध्यप्रदेश में पिता श्री सुरेश जैन व माता श्रीमती शोभा जैन के घर हुआ। आपका पैतृक घर धार जिले की कुक्षी तहसील में है। आप कम्प्यूटर साइंस विषय से बैचलर ऑफ़ इंजीनियरिंग (बीई-कम्प्यूटर साइंस) में स्नातक होने के साथ आपने एमबीए किया तथा एम.जे. एम सी की पढ़ाई भी की। उसके बाद ‘भारतीय पत्रकारिता और वैश्विक चुनौतियाँ’ विषय पर अपना शोध कार्य करके पीएचडी की उपाधि प्राप्त की। आपने अब तक 8 से अधिक पुस्तकों का लेखन किया है, जिसमें से 2 पुस्तकें पत्रकारिता के विद्यार्थियों के लिए उपलब्ध हैं। मातृभाषा उन्नयन संस्थान के राष्ट्रीय अध्यक्ष व मातृभाषा डॉट कॉम, साहित्यग्राम पत्रिका के संपादक डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ मध्य प्रदेश ही नहीं अपितु देशभर में हिन्दी भाषा के प्रचार, प्रसार और विस्तार के लिए निरंतर कार्यरत हैं। डॉ. अर्पण जैन ने 21 लाख से अधिक लोगों के हस्ताक्षर हिन्दी में परिवर्तित करवाए, जिसके कारण उन्हें वर्ल्ड बुक ऑफ़ रिकॉर्डस, लन्दन द्वारा विश्व कीर्तिमान प्रदान किया गया। इसके अलावा आप सॉफ़्टवेयर कम्पनी सेन्स टेक्नोलॉजीस के सीईओ हैं और ख़बर हलचल न्यूज़ के संस्थापक व प्रधान संपादक हैं। हॉल ही में साहित्य अकादमी, मध्य प्रदेश शासन संस्कृति परिषद्, संस्कृति विभाग द्वारा डॉ. अर्पण जैन 'अविचल' को वर्ष 2020 के लिए फ़ेसबुक/ब्लॉग/नेट (पेज) हेतु अखिल भारतीय नारद मुनि पुरस्कार से अलंकृत किया गया है।